गोपाल खेमका हत्याकांड: एनकाउंटर में मारा गया आरोपी राजा, हथियार सप्लाई करने वाला था
- bypari rathore
- 07 August, 2025

गोपाल खेमका हत्याकांड: एनकाउंटर में मारा गया हथियार मुहैया कराने वाला राजा... क्या आप इस एक्शन से सहमत हैं?
✅ क्या हुआ?
गोपाल खेमका हत्याकांड में शामिल आरोपियों को हथियार सप्लाई करने वाला राजा नामक शख्स पुलिस एनकाउंटर में मारा गया।
पुलिस का दावा है कि राजा ने भागने की कोशिश की और जवाबी कार्रवाई में मारा गया।
राजा पर आपराधिक मामलों का लंबा रिकॉर्ड था।
क्या एनकाउंटर सही है?
यह दो हिस्सों में समझना चाहिए:
✅ कानूनी नजरिए से
भारत में कानून कहता है कि किसी भी आरोपी को कोर्ट में ट्रायल का मौका मिलना चाहिए।
एनकाउंटर केवल सेल्फ-डिफेंस (आत्मरक्षा) की स्थिति में ही सही ठहराया जा सकता है।
अगर पुलिस के दावे सही हैं कि राजा ने हमला या भागने की कोशिश की, तब कानून इसे जायज मान सकता है।
लेकिन हर एनकाउंटर की न्यायिक जांच (Magisterial Inquiry) ज़रूरी होती है।
✅ जनता के नजरिए से
बहुत लोग मानते हैं कि खतरनाक अपराधियों को तुरंत सजा मिलनी चाहिए।
मगर यह सोच कानून के लिहाज से खतरनाक है क्योंकि बिना कोर्ट के फैसला सुनाए किसी को मारना “Extra Judicial Killing” मानी जाती है।
गलत व्यक्ति के मारे जाने की संभावना भी रहती है, जिससे न्याय व्यवस्था पर भरोसा कमजोर होता है।
क्या मैं सहमत हूं?

अगर राजा सच में पुलिस पर हमला कर रहा था और कोई और रास्ता नहीं था, तब यह एनकाउंटर कानून के दायरे में आ सकता है।
लेकिन, कानून का सही रास्ता यह है कि उसे गिरफ्तार कर कोर्ट में पेश किया जाता और सबूतों के आधार पर सजा होती।
एनकाउंटर कभी “सिस्टम का शॉर्टकट” नहीं बनना चाहिए।
सारांश:
जनता गुस्से में ऐसे एनकाउंटर का समर्थन कर सकती है, लेकिन कानून और न्याय की नजर में हर एनकाउंटर की निष्पक्ष जांच जरूरी है।
सही या गलत कहना तभी उचित होगा जब जांच पूरी हो जाए और सच्चाई सामने आ जाए।
Note: Content and images are for informational use only. For any concerns, contact us at info@rajasthaninews.com.
राजस्थान में अपराधों...
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